जैसी पिच मांगी, वैसी ही मिली, गंभीर बोले, बस बल्लेबाजी के लिए और धैर्य की जरूरत थी

एजेंसियां— कोलकाता
कोलकाता टेस्ट हारने के बाद मुख्य कोच गौतम गंभीर ने कहा कि पिच मुश्किल थी, लेकिन ऐसी नहीं थी कि उस पर खेला ही न जा सके। उन्होंने बताया कि टीम ने पहले से ही ऐसी पिच की मांग की थी, ताकि खिलाडिय़ों की मानसिक ताकत की अच्छी परीक्षा हो सके। गंभीर ने कहा, यह विकेट अनप्लेयेबल नहीं था। हमने जो पिच मांगी थी, हमें वही मिली। क्यूरेटर सुजान मुखर्जी ने पूरा सहयोग किया। जिस बल्लेबाज ने डिफेंस के साथ खेला, उसने रन बनाए। उन्होंने तेंबा बावुमा (55*) और भारत के वॉशिंगटन सुंदर (92 गेंदों पर 31) का उदाहरण देते हुए कहा कि इस ट्रैक पर टिककर खेलने वालों ने स्कोर किया।
गंभीर ने आगे कहा, अगर इसे टर्निंग विकेट कहें तो यह सही नहीं, क्योंकि ज्यादातर विकेट सीमर्स ने ही लिए। उन्होंने कहा कि टीम ऐसी सूखी पिच चाहती थी, जिस पर टॉस का असर ज्यादा न पड़े। अगर हम मैच जीत जाते, तो पिच पर इतनी बात ही नहीं होती। हमारे खिलाड़ी हर तरह की स्थिति में खेलने में सक्षम हैं।




