फायर फाइटिंग का इंतजाम नहीं… दिल्ली के ब्रह्मपुत्र अपार्टमेंट में लगी भीषण आग के लिए जिम्मेदार कौन?

नई दिल्ली: दिल्ली के एक अपार्टमेंट में शनिवार दोपहर लगी भीषण आग के बाद कई सवाल खड़े हो रहे हैं। स्थानीय निवासियों ने कहा कि इस हाई सिक्योरिटी वाले अपार्टमेंट में सांसदों और उनके कर्मचारियों का आवास होने के बावजूद इसमें फायर फाइटिंग की बुनियादी तैयारी तक नहीं थी और रखरखाव की हालत भी खराब थी।उन्होंने दावा किया कि बाबा खड़ग सिंह मार्ग स्थित ब्रह्मपुत्र अपार्टमेंट में लगी आग में कुछ बच्चे घायल हुए हैं और उन्हें अस्पताल ले जाया गया है और कई परिवारों को भारी नुकसान हुआ है।
निवासियों ने बताया कि आग ग्राउंट फ्लोर पर लगी, जो एक पार्किंग स्थल था, लेकिन वहां फर्नीचर, पॉलिशिंग सामग्री और अन्य ज्वलनशील वस्तुओं का अंबार था।अधिकारियों ने कहा कि आग लगने के कारणों की जांच की जा रही है, लेकिन निवासियों का कहना है कि यह आग तब लगी जब पटाखे फोड़ने के दौरान फर्नीचर के ढेर में आग लग गई, जो बाद में तेजी से फैली।
उन्होंने कहा, ‘यह लगभग सोफा के गोदाम जैसा लग रहा था। हम पानी के लिए दौड़े, लेकिन कुछ भी काम नहीं आया। हम अग्निशमक यंत्रों और पाइपों के पास गए, लेकिन पानी की आपूर्ति नहीं थी।’ कई सांसदों के लिए काम करने वाले और इस घटना को सबसे पहले देखने वालों में से एक गंगाराम वाल्मीकि ने कहा, ‘जब तक दमकल की गाड़ियां पहुंचीं, तब तक बहुत देर हो चुकी थी। वे करीब एक घंटा देरी से आए।’ हालांकि, दिल्ली अग्निशमन सेवा (डीएफएस) ने देरी के आरोपों से इनकार करते हुए कहा कि सूचना मिलते ही कई टीम तुरंत घटनास्थल पर पहुंच गईं।
अधिकारियों के अनुसार, डीएफएस को दोपहर 1.22 बजे आग लगने की सूचना मिली और 1.40 बजे तक कार्रवाई शुरू कर दी गई। उन्होंने कहा कि 14 दमकल गाड़ियां घटनास्थल पर पहुंचीं और दोपहर 2.10 बजे तक आग पर काबू पा लिया गया। उत्तराखंड के सांसद नरेश बंसल के निजी सहायक कमल गहतोड़ी ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया कि पहली मंजिल सबसे अधिक प्रभावित हुई है। वह उसी मंजिल पर रहते हैं।
उन्होंने बताया कि जब आग लगी, तब वे एक कार्यक्रम में शामिल होने गए थे और उनका परिवार दिवाली की छुट्टियों में शहर से बाहर गया हुआ है। उन्होंने कहा कि उनका रसोइया काम पर गया हुआ था जबकि उसकी पत्नी, दो छोटे बच्चे और उसकी बुज़ुर्ग मां घर में ही थीं। गहतोड़ी ने कहा, ‘रसोइये की पत्नी दूध लेने नीचे गई थी और जब वह वापस आई, तो उसने आग देखी। वह तुरंत अपने परिवार को बचाने के लिए घर के अंदर भागी। उसकी बुज़ुर्ग सास हिल भी नहीं पा रही थी, लेकिन किसी तरह वह उन्हें बचाने में कामयाब रही।’
अलमारियों में रखा सारा सामान खाक
उन्होंने कहा कि अंदर सब कुछ जलकर खाक हो गया था। गहतोड़ी ने कहा, ‘अलमारियों में रखा हमारा सारा सामान, दस्तावेज, गहने, कपड़े, यहां तक कि साड़ियां भी जलकर खाक हो गईं। अब सब कुछ खत्म हो गया है।’ गहतोड़ी ने कहा कि हर मंजिल पर 8 कर्मचारियों के क्वार्टर हैं। उन्होंने कहा, ‘पहली मंज़िल पूरी तरह से जलकर खाक हो गई है और सबसे अधिक प्रभावित हुई है। मुझे बाकी मंजिल के बारे में ठीक से पता नहीं है।’ कई निवासियों ने सरकारी आवासीय भवनों के रखरखाव और सुरक्षा को लेकर सवाल उठाए हैं। उन्होंने बताया कि इस घटना के कारण कई कर्मचारियों के परिवार बेघर हो गए हैं।
20 परिवारों को भारी नुकसान हुआ
कमल वाल्मीकि ने बताया कि धनतेरस की पूर्व संध्या पर करीब 20 परिवारों को भारी नुकसान हुआ है। उन्होंने कहा, ‘आज धनतेरस है और लोग त्योहार की तैयारी कर रहे थे, लेकिन अब कई परिवार अपना सब कुछ खो चुके हैं।’ उन्होंने कहा कि इस घटना ने आवासीय परिसर के रखरखाव में गंभीर खामियों को उजागर किया है। इस इमारत का रखरखाव करने वाले केंद्रीय लोक निर्माण विभाग की ओर से तत्काल कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है। ब्रह्मपुत्र अपार्टमेंट परिसर का उद्घाटन वर्ष 2020 में किया गया था, जिसमें राज्यसभा के सांसद और उनके परिवार रहते हैं।




